Tuesday, January 1, 2013

तक़सीम


मेरे बर्थडे की खीर 
मलाई में चूर 
मिठास में भरपूर 
सालों-साल बदस्तूर 

करो तक़सीम  
पहले मिस्कीन का हिस्सा निकल कर 
सबों में करो तकसीम 
कोई छूटा हो तो 
सबकी कटोरी से थोडा निकाल 
बराबर से बांटो 

एक तक़सीम ऐसा 
बराबर की हो हिस्सेदारी 
ना ज़्यादा मेरी ना कम तुम्हारी 

एक ऐसा भी 
धर्म वाली, ज़ात वाली, वर्ग-नस्ल-लिंग वाली 
बंटवारा हुआ ज़रूर 
मेरे आक़ा मेरे हुज़ूर 
बदस्तूर 
हिस्सेदारी का नहीं 
इन्सां को इन्सां से लड़ाने का 
कब्ज़े का, हथिआने का 

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